जब भी हम जंगलों की बात करते है तो हमारे दिमाग में बड़े-बड़े पेड़, पौधे, झाड़ियाँ, जंगली पक्षी और जंगली जानवरों की तस्वीर उभर कर सामने आती है। जंगल हमारे पृथ्वी का महत्वपूर्ण हिस्सा है, पूरी पृथ्वी पर एक तिहाई हिस्सा जंगलों से घिरा हुआ है। जंगल पृथ्वी के सभी प्रजातियों में से लगभग आधी प्रजातियों का घर हैं। प्राणवायु यानी ऑक्सीजन से लेकर, फ्यूल, भोजन, आश्रय और आजीविका के साधन प्रदान करते हैं यह जंगल। जंगल पृथ्वी को ठंडा रखते है, प्रदुषण को कम करते है और बारिश भी करवाते है। पृथ्वी पर जंगलों के बिना जीवन की कल्पना भी नहीं की जा सकती। पृथ्वी पर मजूद जंगलों की शृंखला में से एक ऐसा ही जंगल है जिसे ट्रॉपिकल रेन फारेस्ट यानी उष्णकटिबंधीय वर्षा वन कहा जाता है। जिसे लंग्स ऑफ़ अर्थ के नाम से जाना जाता है, रहस्यों और जीवन की अनेको विवधताओं से भरा हुआ है यह जंगल और जिससे दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अमेज़ॉन नदी हो कर बहती है। आज हम आपके लिए लेके आये है अमेज़ॉन के वर्षावन के बारें में कुछ रोचक जानकारियाँ।
इस जंगल का नाम अमेज़ॉन क्यों रखा गया? | Why This Forest Named Amazon?
अमेज़ॉन वर्षा वन का क्षेत्र | Area Of Amazon Rain Forest
साउथ अमेरिका में बहने वाली अमेज़ॉन नदी के बेसिन के लगभग 70 लाख किलोमीटर में से 55 लाख किलोमीटर स्क्वायर के विशाल छेत्र में अमेज़ॉन का वर्षावन फैला हुआ है। शोधकर्ताओं के अनुसार अमेज़ॉन का यह जंगल डायनासोर के युग से पृथ्वी पर मौजूद है। पेड़-पौधों से लेकर जीव-जंतुओं की हज़ारों अलग अलग प्रजातियां यहां पाई जाती है जो अपने आप में दुनिया की सबसे बड़ी बायोडायवर्सिटी बनाते है। अमेज़ॉन बेसिन नौ देश में बटा हुआ है-अधिकांश वर्षावन, 58.4%, ब्राज़ील की सीमाओं के भीतर समाहित है। अन्य आठ देश पेरू 12.8%, बोलीविया 7.7%, कोलंबिया 7.1%, वेनेजुएला 6.1%, गुयाना 3.1%, सूरीनाम 2.5%, फ्रेंच गुयाना 1.4% और इक्वाडोर 1% हैं। इस जंगल का विस्तार इतना ज्यादा है की अगर यह कोई देश होता तो इसके आकार के आधार पर इसको नोवा बड़ा देश घोषित कर दिया जाता। अभी तक इस जंगल का सिर्फ 25 % हिस्सा ही देखा जा सकता है बाकी का 75 % हिस्सा आज भी यह जंगल छुपाये बैठा है। इस जंगल की विशालता का पता इस बात से लगाया जा सकता है की हर तीसरे दिन एक नयी खोज सामने निकल कर आ जाती है। यह जंगल इतना घना है की यहाँ जब भी बारिश होती है तो पेड़ से होकर बारिश के पानी को ज़मीन पर गिरने में 10 मिनट का समय लग जाता है। इसी घनेपन के वजह से दिन में भी यहाँ रात की तरह अँधेरा रहता है।
अमेज़ॉन के वर्षावन का निर्माण | The Formation Amazon Rainforest
अमेज़ॉन के वर्षावन आज से लगभग 56 मिलियन वर्ष से 33.9 मिलियन वर्ष पूर्व विकसित हुए थे और ऐसा भी कहा जाता है की ये वर्षावन पृथ्वी पर मेसोजोइक युग यानी डायनासोर के युग से धरती पर है। यह वह युग था जब ज़मीन पर रहने वाले, पानी में रहने वाले, आसमान में उड़ने वाले, भरी भरकम, कम वजनी, शाहकारी माँसाहारी डायनासोर की हर तरह की प्रजातियाँ धरती पर रहती थी। समय के साथ सब ठीक चल रहा था पर एक दिन सुदूर अंतरिक्ष से आया एक बड़ा उल्कापिंड पृथ्वी से टकरा गया, यह टकराओ इतना जबरदस्त था की पृथ्वी के ऊपरी सतह के टुकड़े अंतरिक्ष में बिखर गए और धुल और धुँयें का एक भयानक गुबार उठा। इस भयानक धुल के गुब्बारे की गति इतनी ज्यादा थी की इसके रास्ते में आने वाले हर जीव जंतु को इसने समाप्त कर दिया। उस समय में सदियों से शांत ज्वालामुखियों को इस टकराओ ने सक्रिय कर दिया और टकराओ से निकले अत्याधिक ऊर्जा ने पृथ्वी पर बहने वाली हवा को बेहद गर्म कर दिया जिसके कारण पृथ्वी का वातावरण 1600 डिग्री सेल्सियस तक गरम हो गया। 1600 डिग्री के इस भयानक तापमान ने पृथ्वी पर मौजूद सभी जीव जंतु और पेड़ पौधों को जला कर भस्म कर दिया।
उल्कापिंड ने अमेज़ॉन के वर्षावन के 60% जीवजंतु और पेड़ पौधों को खत्म कर दिया था पर हर विनाश के बाद जीवन की नयी शुरुवात होती है। इस उल्कापिंड के विनाश से सिर्फ वही जीव जंतु बचे थे जिनका वजन लगभग 25 किलोग्राम था जिन्हें मैमल्स कहा गया धीरे धीरे इन प्रजातियों की तादाद बढ़ने लगी और फिर जीव जंतु की एक नयी शृंखला की शुरुवात हुई। डायनासोर के खात्मे ने अमेज़ॉन के वर्षावनों को फिर से बढ़ने और फलने फूलने का मौका दिया साथ ही अनेको जैव विविध्ताओं और जीव जंतु का विकास-विस्तार हुआ। सदियों तक फलने फूलने के कारण और अमेज़ॉन नदी का पोषण पा कर अमेज़ॉन के वर्षावन आज हमें घने और रहस्मयी रूप में मिलते है।
पृथ्वी के फेफड़े - अमेज़ॉन वर्षावन | Lungs Of Earth - Amazon Rainforest
अमेज़ॉन को लंग्स ऑफ़ अर्थ इसलिए कहा जाता है क्यों की अमेज़ॉन के वर्षावन इकोसिस्टम को पूरी तरह से रेगुलेट करने का काम करते है और इकोसिस्टम में बैलेंस बनाएं रखते है। अमेज़ॉन के वर्षावन जीव जंतु और पेड़ पौधों की विभिन्न प्रजातियों को आश्रय प्रदान करते है। अमेज़ॉन के वर्षावन दुनिया के आधे से अधिक पौधों और जानवरों की प्रजातियों का घर है, और यह पृथ्वी पर सबसे अधिक जैव विविधता वाला क्षेत्र है। इस वर्षवान में मौजूद अरबों पेड़ हर साल टनो में कार्बन डाइऑक्साइड अवशोषित यानी अब्सॉर्ब करते हैं और पृथ्वी पर 20% ऑक्सीजन का उत्पादन करने के साथ-साथ जलवायु परिवर्तन को धीमा करते हैं। अगर कार्बन डाइऑक्साइड अवशोषित करने की मात्रा का अनुमान लगाया जाए तो अमेज़ॉन के वर्षावन लगभग 76 बिलियन टन कार्बन डाइऑक्साइड अब्सॉर्ब करके बैठे हुए है इसलिए इसे कार्बन सिंक भी कहा जाता है। हर दिन यह वर्षावन पृथ्वी के वायुमंडल में लगभग 20 टन पानी भी रिलीज़ करता है जिससे यह ग्लोबल और रीजनल वाटर साइकिल को बैलेंस रखता है।
अमेज़ॉन वर्षावन की जैव विविधता | Biodiversity Of Amazon Rainforest
पृथ्वी पर जैविक रूप से विविध अगर कोई जगह है तो वह है अमेज़ॉन के वर्षावन क्यों की यहाँ पेड़, पौधों, पक्षियों, जानवरों और सूक्ष्मजीवों की इतनी प्रजातियाँ पाई जाती है जिसका पूरी तरह से अनुमान लगाना अभी तक संभव नहीं हुआ है। यहाँ ऐसी ऐसी प्रजातियां पाई जाती है जो आपको पृथ्वी पर कहीं और देखने को नहीं मिलेंगी। यहां अब तक 400000 प्लांट्स की किस्में, 1300 अलग-अलग नस्लों के पक्षी, 2200 से ज्यादा मछलियों की प्रजातियाँ, 272 मैमल्स और 380 अजीबोगरीब दिखने वाले जानवरों की कई नस्लें मौजूद हैं। अगर यहां के छोटे इंसेक्ट्स की बात की जाए तो यहां पर अभी तक 2.5 लाख अलग-अलग किस्म के जहरीले कीड़े देखे जा चुके हैं।
इस जंगल में कई दुर्लभ पौधे पाए जाते है जिनमें मेडिसिनल खूबी होती है और इन पौधों से दवाइयाँ बनाई जाती है। 1999 में किये गए एक अध्ययन में यह अंदाज़ लगाया गया था की अमेजॉन के वर्षवनों के एक वर्ग किलोमीटर के एरिया में लगभग 90790 टन से ज्यादा पौधे हो सकते हैं। कई शोधकर्ताओं का कहना है अमेज़ॉन के वर्षावन में आज भी प्राचीन युग के विचित्र जानवर रहते है और कइयों ने उन्हे देखने का दावा भी किया है।
इस जंगल में जेहरीले सांपों की हज़ारों प्रजातियां पायी जाती है जिनमें से एक है ग्रीन एनाकोंडा जो दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सांप है जिसकी लम्बाई 30 फीट तक और वजन 250 केजी होता है।
बुलेट एंट जो चिट्टियों की एक प्रजाति है वह भी इस जंगल में पायी जाती है। बुलेट एंट का डंक बेहद दर्दनाक होता है और इसके जहर के कारण शरीर के प्रभावित हिस्से में पैरालिसिस, अत्यधिक दर्द और बेकाबू कंपकंपी होती है।
इन वर्षावनों का सबसे खतरनाक शिकारी यानी जैगवार भी यहां पर काफी बड़ी संख्या में पाया जाता है। यहां मेंढक की एक प्रजाति नीला मेंढक भी पाया जाता है जो काफी जहरीला होता है। हार्पी ईगल (हार्पिया हार्पीजा) अमेज़ॉन वर्षावन में सबसे बड़ा शिकारी पक्षी है और दुनिया के सबसे बड़े ईगल में से एक है।
अमेज़ॉन के वर्षावन काइमन्स का घर है, जो एक प्रकार के मगरमच्छ हैं। ब्लैक केमैन दक्षिण अमेरिका का सबसे बड़ा मगरमच्छ है और लगभग 20 फीट लंबा हो सकता है।
इस जंगल से बहने वाली अमेज़ॉन नदी में पिंक डॉलफिन जो डॉलफिन की एक प्रजाति वह भी पायी जाती है जो नदी डॉल्फ़िन की सबसे बड़ी प्रजाति है। पिंक डॉलफिन का वजन 180 केजी तक होता है और यह 8 फ़ीट तक लम्बी होती है। इस नदी में रेड पिरान्हा और बिजली का झटका देने वाली इल मछली भी पायी जाती है।
प्रकृति ने पृथ्वी को हज़ारों विविधताओं से भरे हुए अमेज़ॉन के वर्षावन को एक उपहार के रूप में भले ही दिया हो पर करोड़ों साल से मौजूद इस वर्षावन पर विलुप्त होने का खतरा मंडरा रहा है। इन वर्षा वनों को सबसे ज्यादा खतरा मानवीय गतिविधियों है लगातार होते डिफोरेस्टेशन के कारण यहां पर हर साल भारी मात्रा में पेड़ों की कटाई होती है जिसके कारण वर्षा वनों में पाए जान वाली अनेक पेड़ों की प्रजातियां से लेकर अनेक जानवरों की प्रजातियां पर खतरे का निशान मंडराने लगा है। गैर कानूनी तौर पे पेड़ो की कटाई और अमेज़ॉन के वर्षावनो में पाए जाने वाले जानवरों की तस्करी की जा रही है। हमें और दुनिया भर की सरकारों को मिल कर इस वर्षावन के संरक्षण के लिए ठोस कदम उठाने जरुरी है। इस प्रकृतिक संपदा को बचाना हम मनुष्यों के हाथ में और इसे सुरक्षित रखने के लिए हम अपना भरपुर सहयोग देना चाहिए।